कालाजार प्रभावित मुंगेर के सात प्रखंडों की आशा कार्यकर्ताओं का उन्मुखीकरण कार्यक्रम जारी

 


- मंगलवार से गुरुवार तक चल रहा उन्मुखीकरण कार्यक्रम                     - 50 - 50 की संख्या में तीन बैच में आशा को दी जा रही है ट्रेनिंग 


-  बरियारपुर से आई 50 आशा कार्यकर्ताओं को कालाजार के बारे में दी गई जानकारी 


मुंगेर, 17 नवंबर। मुंगेर जिले के सात कालाजार प्रभावित प्रखंडों, मुंगेर सदर, बरियारपुर, जमालपुर, संग्रामपुर, टेटिया बम्बर, हवेली खड़गपुर, धरहरा से आई 150 आशा कार्यकर्ताओं को   50 -50 के तीन बैच बनाकर जिला वेक्टर बोर्न डिजीज कंट्रोल ऑफिस मुंगेर में कालाजार के प्रति उन्मुखीकरण किया जा रहा है। असरगंज और तारापुर प्रखण्ड में पिछले पांच वर्षों में कालाजार का कोई केस न मिलने के कारण वहां से कोई आशा कार्यकर्ता उन्मुखीकरण कार्यक्रम में हिस्सा नहीं ले रही है। 

उन्मुखीकरण कार्यक्रम में हिस्सा ले रही आशा कार्यकर्ताओं को सम्बोधित करते हुए जिला वेक्टर बोर्न डिजीज कंट्रोल ऑफिसर डॉ. अरविंद कुमार सिंह ने बताया कि वेक्टर बोर्न डिजीज कंट्रोल ऑफिसर बिहार के राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी सह अपर निदेशक राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ. अंजनी कुमार के निर्देशानुसार राज्य के 32 जिलों जिसमें मुंगेर भी शामिल है के कुल 10500 कार्यकर्ताओं का कालाजार को लेकर उन्मुखीकरण किया जाना है। इसी अभियान के तहत मुंगेर के सात कालाजार प्रभावित प्रखंड़ों से आई कुल 150 कार्यकर्ताओं को 50 - 50 के तीन बैच में मंगलवार, बुधवार और गुरुवार को कालाजार के विभिन्न पहलुओं के प्रति उन्मुखीकरण किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि मंगलवार 16 नवंबर को सदर प्रखंड से 1, जमालपुर से 7, संग्रामपुर से 7, टेटिया बम्बर से 14, हवेली खड़गपुर से 21, कुल 50 आशा कार्यकर्ताओं को कालाजार के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। इसी तरह बुधवार 17 नवंबर को सिर्फ बरियारपुर से 50 आशा कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण दिया गया।   इसी प्रकार गुरुवार 18 नवंबर को बरियारपुर से 20, धरहरा से 14, सदर प्रखंड मुंगेर से 16 कुल 50 आशा कार्यकर्ताओं को कालाजार के लक्षण और बचाव के बारे में विस्तार से जानकारी दी जाएगी। इस अवसर पर जिला वेक्टर बोर्न डिजीज कंट्रोल ऑफिसर डॉ. अरविंद कुमार सिंह के अलावा वेक्टर बोर्न डिजीज कंट्रोल ऑफिसर संजय कुमार विश्वकर्मा, डिस्ट्रिक्ट वेक्टर बोर्न डिजीज कंसलटेंट पंकज कुमार प्रणव, आयुष्मान भारत योजना की डीपीसी ज्योति कुमारी, फाइलेरिया नियंत्रण पदाधिकारी डॉ. संतोष कुमार, केयर इंडिया के कालाजार ब्लॉक कॉर्डिनेटर अमरेश कुमार और नटराज कुमार, सभी संबंधित पीएचसी और सीएचसी के वेक्टर बोर्न डिजीज सुपरवाज़र और बेसिक हेल्थ वर्कर भी उपस्थित थे। 


उन्मुखीकरण कार्यशाला को संबोधित करते हुए वेक्टर बोर्न डिजीज कंट्रोल ऑफिसर संजय कुमार विश्वकर्मा ने कालाजार के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए कालाजार बीमारी के कारण, कालाजार उन्मूलन कार्यक्रम 2021, बालू मक्खी को खत्म करने के उपाय, कालाजार मरीज की पहचान, कालाजार की जांच और उपचार के बारे में विस्तार से जानकारी दी। इसके साथ ही उन्होंने पोस्ट कालाजार डर्मल लिशमिनिएसिस (पीकेडीएल) या त्वचीय कालाजार के बारे में तमाम तकनीकी जानकारी दी। 


उन्मुखीकरण कार्यशाला को सम्बोधित करते हुए डिस्ट्रिक्ट वेक्टर बोर्न डिजीज कंसलटेंट पंकज कुमार प्रणव ने कालाजार के उपचार में आशा कार्यकर्ता की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए उनके द्वारा किए जाने वाले कार्यों की चर्चा की। उन्होंने बताया कि आशा कार्यकर्ता अपने क्षेत्र में कालाजार मरीजों की पहचान कर  उन्हें स्थानीय स्वास्थ्य केंद्र ले जाएगी। वहां कालाजार की जांच करवाने के बाद पॉजिटिव मरीज का अगले छह महीने तक लगातार फॉलोअप करेगी और यह सुनिश्चित करेगी कि मरीज का  उपचार पूर्ण हो। उन्होंने बताया कि आशा के द्वारा इस दायित्व के पूरा करने पर सरकार के द्वारा 500 रुपये  प्रोत्साहन राशि की व्यवस्था है । यह राशि उनके बैंक अकाउंट में  क्रेडिट कर दी जाएगी। उन्होंने बताया कि आशा कार्यकर्ता को अपने स्वास्थ्य केंद्र से समय-समय पर अपने क्षेत्र के कालाजार मरीजों का विवरण लेना चाहिए और उनका रिकॉर्ड रखना चाहिए ताकि आईआरएस के लिए माइक्रोप्लान बनाने में मदद मिले और छिड़काव के समय उन क्षेत्रों को फोकस किया जा सके जहां कालाजार के मरीज पाए गए हैं।

रिपोर्टर

  • Dr. Rajesh Kumar
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